सबकी प्यास बुझाने वाला झेलम खुद पानी के लिए प्यासा
सूखे के कारण झेलम का जलस्तर आधा फीट रह गया
जम्मू, 01 जुलाई (ब्यूरो)। कश्मीर के लोगों की प्यास बुझाने वाली झेलम नदी अपनी ही प्यास नहीं बुझा पा रही है। सूखे के कारण उसका जलस्तर सिर्फ आधा फुट रह गया है। कश्मीर वादी में लंबे समय से सूखा जारी है, जिससे झेलम नदी और उसकी सहायक नदियों के जलस्तर में उल्लेखनीय गिरावट आई है, जिससे पूरे क्षेत्र में सिंचाई और पेयजल आपूर्ति को लेकर चिंताएं बढ़ गई हैं।
आज सुबह सिंचाई और बाढ़ नियंत्रण विभाग के आंकड़ों के अनुसार, संगम में जलस्तर सिर्फ 0.57 फीट था, जो बाढ़ की चेतावनी के 21 फीट के निशान से काफी नीचे था। अन्य गेजों ने भी कम रीडिंग दर्ज की गई। इसके मुताबिक, मुंशी बाग (2.47 फीट), अशम (2.57 फीट), और पंपोर (-1.29 मीटर)। जबकि डेटा के अनुसार, वुलर झील का जलस्तर 1574.97 मीटर दर्ज किया गया, जो इसके औसत स्तर 1578.00 मीटर से काफी नीचे है। सहायक नदियां भी तनाव के संकेत दे रही हैं, वाची में रामबियारा नाला -0.43 मीटर, बटकूट में लिद्दर नाला 0.30 मीटर और डोडरहामा में सिंध नाला 1.05 मीटर तक गिर गया है।
स्वतंत्र मौसम पूर्वानुमान कर्ता फैजान आरिफ केंग कहते हैं, हालांकि स्थिति अभी भी चिंताजनक नहीं है, लेकिन अगर जुलाई तक सूखे की स्थिति बनी रही तो स्थिति और खराब हो सकती है। उनका कहना था कि हमने पिछले वर्षों में इससे भी बदतर स्थिति देखी है, लेकिन अगर यह सूखा जारी रहा तो हमें खासकर दूरदराज और कृषि क्षेत्रों में कमी देखने को मिल सकती है। वे कहते थे कि जुलाई एक लंबा महीना है और हम केवल यही उम्मीद कर सकते हैं कि मानसून समय पर आए। इस बीच, मौसम विभाग (एमईटी) श्रीनगर ने आंशिक रूप से बादल छाए रहने का पूर्वानुमान लगाया है, जिसमें छिटपुट स्थानों पर बारिश या गरज के साथ छींटे पड़ सकते हैं और कुछ स्थानों पर मध्यम बारिश की संभावना है। मौसम विभाग ने कहा कि 1 से 5 जुलाई के बीच छिटपुट स्थानों पर रुक-रुक कर बारिश या गरज के साथ छींटे पड़ने की संभावना है और 6 से 8 जुलाई के बीच कई स्थानों पर ऐसी गतिविधि हो सकती है।
विभाग का कहना है कि कई इलाकों में निवासियों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। पुलवामा के निवासी गुलाम नबी कहते थे कि हमारे गांव में सिंचाई चैनल सूख रहा है। किसान अपनी फसलों को लेकर चिंतित हैं। बेमिना, श्रीनगर के स्थानीय निवासी इश्फाक कहते थे कि उन्हें इन दिनों बहुत कम पानी मिल रहा है। वे कहते थे कि हम टैंकर सप्लाई पर कब तक जीवित रहेंगे? स्थिति बदतर होती जा रही है। मुख्य अभियंता जल शक्ति कश्मीर, ताज मोहम्मद चौधरी ने कहा कि विभाग सक्रिय रूप से स्थिति की निगरानी कर रहा है और विभिन्न शहरी क्षेत्रों में पानी के टैंकर तैनात किए गए हैं।
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