आलोचनाओं से घिरे शिवकुमार ने कहा कि वह अब कई मुद्दों पर रहेंगे चुप
बेंगलूरु/शुभ लाभ ब्यूरो| आरएसएस का राष्ट्रगान गाने सहित कई मुद्दों पर आलोचनाओं का सामना कर रहे कर्नाटक के उपमुख्यमंत्री डी. के. शिवकुमार ने गुरुवार को कहा कि वह चुप रहेंगे और पार्टी प्रवक्ताओं से किसी भी विषय पर टिप्पणी के लिए संपर्क किया जाएगा| शिवकुमार की भाजपा द्वारा यह कहने के लिए भी आलोचना की गई है कि चामुंडेश्वरी पर्वत केवल हिंदुओं की संपत्ति नहीं है|
मैसूरु के सांसद और मैसूरु राजघराने के वंशज यदुवीर कृष्णदत्त चामराज वाडियार ने शिवकुमार के अपने कुलदेवता पर दिए गए बयान को आहत करने वाला बताया था| भाजपा सांसद वाडियार ने कहा यह बहुत ही दर्दनाक और हास्यास्पद बयान है| ऐसे समय में जब लोग देवी गौरी और गणेश की पूजा कर रहे हैं, ऐसा बयान दिया गया है जिससे हिंदुओं की भावनाएं आहत हुई हैं, जो निंदनीय है|
गुरुवार को शिवकुमार ने वाडियार पर निशाना साधते हुए कहा देखिए, जब मैं कुछ तथ्य बोलता हूँ, चाहे वह प्रमोदा देवी (मैसूरु राजघराने की सदस्य), यदुवीर कृष्णदत्त वाडियार या विधानसभा के अंदर की बात हो, तो लोग बर्दाश्त नहीं करते| उन्होंने कहा लोगों का काम बस यही है कि मैं जो कुछ भी बोलूँ, उसमें खामियाँ ढूँढ़ें - चाहे वह राजनेता हों, पत्रकार हों या कोई और| यही चल रहा है|
बेहतर है कि मैं कुछ न बोलूँ| दूसरे नेता और पार्टी प्रवक्ता भी हैं| आप (पत्रकार) उनसे बात करें| २१ अगस्त को कर्नाटक विधानसभा के अंदर आरएसएस का गान गाने के लिए शिवकुमार से माफी मांगने के लिए कांग्रेस सांसद राहुल गांधी पर निशाना साधते हुए, बीएल संतोष ने पोस्ट किया था| जिसमें उन्होंने कहा था इसे समझ लीजिए राहुल गांधी के नेतृत्व में कांग्रेस राष्ट्रवाद से जुड़ी किसी भी चीज को कभी बर्दाश्त नहीं करेगी| वे इससे सख्त नफरत करते हैं और चाहते हैं कि उनके साथ मौजूद हर कोई राष्ट्रवादी किसी भी चीज का विरोध करे|
भाजपा ने इस साल दशहरा उत्सव के उद्घाटन के लिए मुस्लिम समुदाय से आने वाली कन्नड़ साहित्यकार बानू मुश्ताक को चुनने पर कांग्रेस पर तीखा हमला बोला है| बानू मुश्ताक को अपनी पुस्तक ’हार्ट लैंप’ के लिए बुकर पुरस्कार मिला है| भाजपा नेताओं ने आरोप लगाया कि मुश्ताक देवी चामुंडेश्वरी के दूसरे रूप, देवी भुवनेश्वरी के प्रति कोई सम्मान नहीं रखतीं| उन्होंने चेतावनी दी कि वे राज्य सरकार के इस फैसले के खिलाफ आंदोलन शुरू करेंगे|
इससे पहले शिवकुमार, जिन्होंने पिछले हफ्ते राज्य विधानमंडल के मानसून सत्र के दौरान विधानसभा में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) का गान ‘नमस्ते सदा वत्सले मातृभूमि‘ गाकर विवाद खड़ा कर दिया था, ने मंगलवार को कांग्रेस और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) गठबंधन में किसी भी व्यक्ति से जिसे ठेस पहुँची हो से माफी मांगी| १९८० से कांग्रेस पार्टी और गांधी परिवार के प्रति अपनी वफादारी दोहराते हुए शिवकुमार ने कहा मेरे आलाकमान में किसी ने भी उनसे माफी मांगने के लिए नहीं कहा|
४ जून को एम. चिन्नास्वामी स्टेडियम में आरसीबी के जश्न के दौरान हुई भगदड़ पर विपक्षी भाजपा द्वारा उठाए गए सवाल के दौरान, उन्होंने उनकी (आरएसएस) प्रार्थना का एक अंश गाया था ताकि ’उनकी (भाजपा) टांग खींची जा सके| मेरे कुछ दोस्त इसका राजनीतिक फायदा उठाते हैं, इसका दुरुपयोग करने की कोशिश करते हैं और जनता को भ्रमित करने की कोशिश करते हैं|
-मेरा इरादा आरएसएस की तारीफ करना नहीं
कर्नाटक में कांग्रेस पार्टी के संकटमोचक ने कहा मेरा इरादा आरएसएस की तारीफ करना नहीं है| कांग्रेस और गांधी परिवार के प्रति मेरी निष्ठा पर कोई सवाल नहीं उठा सकता| मैं एक कांग्रेसी के रूप में पैदा हुआ हूँ और एक कांग्रेसी के रूप में ही मरूँगा| राजनीति में आने और एनएसयूआई में शामिल होने से पहले उन्होंने कहा मैंने एनएसयूआई, कांग्रेस, गांधी परिवार, गांधी परिवार के योगदान, कांग्रेस के इतिहास, आरएसएस, भाजपा, जद (एस), कम्युनिस्ट पार्टी और देश के विभिन्न राजनीतिक दलों के इतिहास का अध्ययन किया| ईडी द्वारा दर्ज कथित धन शोधन मामले में दिल्ली की तिहाड़ जेल में अपनी कैद को याद करते हुए, उन्होंने कहा अगर कोई मेरा इतिहास, मेरी प्रतिबद्धता, मेरी विचारधारा जानना चाहता है और वे इसके साथ राजनीति करना चाहते हैं, तो यह उन पर छोड़ दिया गया है| मैं कोई टिप्पणी नहीं करना चाहता| लेकिन अगर किसी को ठेस पहुँची है, तो मेरे कुछ पार्टी सहयोगी इस पर टिप्पणी कर रहे थे, मेरे बहुत सारे फॉलोअर्स हैं, अगर किसी ने किसी को ठेस पहुँचाई है, तो मैं उनकी भावनाओं को ठेस नहीं पहुँचाना चाहता, मुझे उनके लिए दुख है| मैं उनसे माफी माँगना चाहूँगा|
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