अधिकारियों की गलती के कारण खारिज हुए हुकुम आवेदन की समीक्षा की जाएगी: मंत्री
बेंगलूरु/शुभ लाभ ब्यूरो| राजस्व मंत्री कृष्णा बायरे गौड़ा ने विधानसभा में कहा कि अगर खेती के आवेदन अधिकारियों की गलती के कारण खारिज हुए हैं, तो उन्हें सुधारा जाएगा| प्रश्नकाल के दौरान जेडीएस विधायक एम.टी. कृष्णप्पा के एक प्रश्न का उत्तर देते हुए उन्होंने कहा कि हम कानून का पालन कर रहे हैं|
अधिकारियों को १०८ सीसी के तहत आवेदन रद्द करने का अधिकार दिया गया है| उन्होंने कहा कि अगर बागारुकुम खेती की जमीन पर घर भी है, तो कानून की जाँच की जाएगी और उसे स्पष्ट किया जाएगा| राज्य में ४२,२८९ आवेदक १८ वर्ष से कम आयु के हैं| ७,००० से अधिक ने ५ एकड़ से अधिक भूमि के लिए आवेदन दायर किए हैं|
सड़कों और आग्नेयास्त्रों से संबंधित ३३,६३७ आवेदन, वनों से संबंधित १,००,५६५ आवेदन, नगर पालिकाओं, बफर जोन और शहरी क्षेत्रों के अधिकार क्षेत्र में आने वाले ६९,८५० आवेदन, संबंधित तालुकों के गैर-निवासियों से १,६२० आवेदन, गैर-किसानों से १२,६०१ आवेदन, गैर-भूस्वामियों से ४४,५१७ आवेदन और झील विकास से संबंधित ३,०४० आवेदन जमा किए गए|
उन्होंने कहा कि तुरुवेकेरे तालुक में आवेदनों का निपटारा अगले दो महीनों में कर दिया जाएगा| उन्होंने कहा कि पाड़ा या कटी हुई भूमि से संबंधित बागारुकुम आवेदनों के निपटारे के बाद, जो लोग फिर से खेती कर रहे हैं, उन्हें आवेदन करने की अनुमति देने की संभावना पर विचार किया जाएगा| मंत्री ने जेडीएस विधायक शारदा पूरिया नायक के प्रश्न का उत्तर देते हुए बताया कि शिवमोग्गा ग्रामीण विधानसभा क्षेत्र के अंतर्गत आने वाले अयानुर होबली मलालागोप्पा गाँव के सर्वेक्षण क्रमांक २ में संपूर्ण स्वीकृति की सत्यता की जाँच कर, बेंगलूरु क्षेत्रीय आयुक्त को व्यापक जाँच करने और रिपोर्ट प्रस्तुत करने के निर्देश दिए गए हैं|
उन्होंने कहा कि जल्द ही जाँच कर रिपोर्ट प्रस्तुत की जाएगी| उन्होंने कहा कि रिपोर्ट प्राप्त होने के बाद कार्रवाई की जाएगी| ११९ एकड़ जमीन एक ही परिवार को दी गई है| विधायक के.वाई. नंजेगौड़ा के प्रश्न का उत्तर देते हुए, मंत्री ने कहा कि यदि उसी गाँव या पड़ोसी गाँव के गोमल और गाँव के २ किमी के दायरे में जंगल में मवेशियों को चराने की अनुमति है, तो अतिरिक्त गोमल स्वीकृत करने के निर्देश १० दिनों के भीतर दिए जाएँगे| १२ हजार आँगनवाड़ियों के लिए जमीन उपलब्ध नहीं है|
मोरारजी को एक आवासीय विद्यालय भी खरीदना है| प्रजा सौधा के लिए भी दो-तीन नए तालुकों में जमीन खरीदी गई है| अगर ऐसा है, तो स्कूलों और खेल के मैदानों के लिए जमीन कहाँ से आएगी? जेडीएस विधायक सुरेश बाबू ने कहा कि नगर पंचायत की सीमा में कांग्रेस कार्यालय को एक गौशाला दी गई है| अगर यह गरीबों के लिए है, तो आप कानून की बात करेंगे| यह भेदभाव क्यों? भाजपा विधायक सुरेश गौड़ा ने कहा कि तुमकुरु नगर निगम की सीमा में कांग्रेस कार्यालय को दो एकड़ जमीन दी गई है|