१७,००० से ज्यादा कर्मचारियों को नोटिस, २० करोड़ रुपये के नुकसान का अनुमान
-कर्नाटक बस हड़ताल
बेंगलूरु/शुभ लाभ ब्यूरो| कर्नाटक राज्य सड़क परिवहन निगम (केएसआरटीसी) ने ५ अगस्त को हुई हड़ताल में भाग लेने के लिए अपने लगभग ८,००० कर्मचारियों को कारण बताओ नोटिस जारी किया है|
यह हड़ताल आवश्यक सेवा रखरखाव अधिनियम (ईएसएमए), १९८१ के उल्लंघन में बुलाई गई थी| अधिकारियों ने पुष्टि की है कि चार राज्य परिवहन निगमों - केएसआरटीसी, बीएमटीसी, एनडब्ल्यूकेआरटीसी और केकेआरटीसी - को हड़ताल के एक दिन बाद कुल मिलाकर लगभग १७,००० नोटिस जारी किए गए| यह हड़ताल सड़क परिवहन निगम (आरटीसी) कर्मचारियों की संयुक्त कार्रवाई समिति (जेएसी) के नेतृत्व में राज्यव्यापी आंदोलन का हिस्सा थी, जिन्होंने ५ अगस्त को सुबह ६ बजे से अनिश्चितकालीन विरोध प्रदर्शन शुरू किया था| बेंगलूरु शहर में १०० प्रतिशत बस संचालन दर के साथ न्यूनतम व्यवधान देखा गया, जबकि शेष कर्नाटक में सेवा में महत्वपूर्ण व्यवधान देखा गया| राज्य भर में कुल परिचालन दक्षता ७१.९ प्रतिशत बताई गई| अधिकारियों ने बताया कि ईएसएमए, १९८१ लागू होने और कर्नाटक उच्च न्यायालय द्वारा यूनियनों को विरोध प्रदर्शन वापस लेने का निर्देश देने के बावजूद, जो ५ अगस्त को ड्यूटी पर नहीं आए, उन्हें कारण बताओ नोटिस जारी किए गए| ्पर
परिवहन विभाग के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा हम कर्मचारियों के जवाब का इंतजार कर रहे हैं| नोटिस के जवाब के आधार पर कार्रवाई की जाएगी| परिवहन मंत्री रामलिंगा रेड्डी ने नोटिस जारी करने का बचाव करते हुए कहा कि ईएसएमए, १९८१ लागू होने के बावजूद कर्मचारियों का काम से अनुपस्थित रहना एक नियमित प्रक्रिया है|
रेड्डी ने बताया यह सिर्फ हमारे विभाग की बात नहीं है| यहाँ तक कि स्वास्थ्य, शिक्षा और पुलिस विभागों में भी, अगर ईएसएमए, १९८१ लागू है और कर्मचारी हड़ताल में शामिल होते हैं, तो नोटिस जारी किए जाते हैं| मंत्री ने आगे कहा कि कर्मचारियों के बीच चिंता की कोई बात नहीं है| उन्होंने कहा २०२१ में, १५ दिनों की आरटीसी हड़ताल के दौरान, लगभग २,५०० कर्मचारियों को निलंबित कर दिया गया था| यह केवल आधे दिन से एक दिन की हड़ताल थी जिसमें कम लोग शामिल हुए थे| इसलिए, इसका कोई बड़ा असर नहीं होगा| हालांकि रेड्डी ने आरटीसी यूनियनों द्वारा अदालत के निर्देशों की अवहेलना पर निराशा व्यक्त की|
उन्होंने कहा उच्च न्यायालय के निर्देशों के बावजूद हड़ताल करना गलत था| कम से कम, अदालत का सम्मान तो किया जाना चाहिए था| उन्होंने आगे कहा कि सरकार ऐसे मामलों में हमेशा कानूनी निर्देशों का पालन करेगी| रेड्डी ने कहा कि आरटीसी कर्मचारियों की एक दिवसीय हड़ताल से परिवहन निगमों को लगभग २० करोड़ का अनुमानित नुकसान हुआ है| रेड्डी ने कहा इस तरह का व्यवधान, भले ही सिर्फ एक दिन के लिए ही क्यों न हो, का वित्तीय प्रभाव काफी ज्यादा होता है| निगम सीमित मार्जिन पर काम करते हैं, और सेवाओं में किसी भी तरह की गिरावट न केवल दैनिक राजस्व को प्रभावित करती है, बल्कि इन सेवाओं पर निर्भर जनता को भी प्रभावित करती है|
अधिकारी वर्तमान में आँकड़ों की जाँच कर रहे हैं और चारों परिवहन निगमों को हुए सटीक वित्तीय नुकसान का आकलन करने के लिए विस्तृत रिपोर्ट तैयार कर रहे हैं| जेएसी की मुख्य माँगों में १ जनवरी, २०२४ से प्रभावी संशोधित वेतन संरचना का कार्यान्वयन और जनवरी २०२० से फरवरी २०२३ तक के ३८ महीनों के लंबित बकाया का भुगतान शामिल है| यूनियनें यह भी चाहती हैं कि संशोधित वेतनमान ३१ दिसंबर, २०२७ तक लागू रहे| वेतन संबंधी मुद्दों के अलावा, कर्मचारियों ने विभिन्न भत्तों में वृद्धि, चिकित्सा लाभों में वृद्धि और अनुबंध-आधारित ड्राइवरों और तकनीकी कर्मचारियों के नियमितीकरण की माँग की है|
उन्होंने मांग की है कि इलेक्ट्रिक बसों का संचालन केवल स्थायी कर्मचारियों द्वारा ही किया जाए और ई-बस संचालन में अनुबंधित कर्मचारियों की भागीदारी का विरोध किया है| ४ अगस्त को हुई एक बैठक में, कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धरामैया ने हड़ताल वापस लेने पर १४ महीने का बकाया जारी करने की पेशकश की थी| हालाँकि, संयुक्त कार्यकारिणी समिति ने इस प्रस्ताव को अस्वीकार कर दिया और ३८ महीने के बकाया के पूर्ण भुगतान की अपनी माँग पर अड़ी रही|
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