विदेशियों को भाया आगरा का जूता, 18500 करोड़ की बुकिंग हुई
मीट एट आगरा में शामिल हुए आठ हजार उद्यमी
आगरा, 10 नवंबर (एजेंसियां)। अमेरिकी टैरिफ के बीच मीट एट आगरा में 18,500 करोड़ रुपए के जूता कारोबार सुनिश्चित हुआ। बीते साल के मुकाबले इस बार विदेशी उद्यमी अधिक आए। जूता, सोल, धागा समेत कई तरह की सामग्री की बुकिंग हुई। आगरा मैनुफैक्चरर्स एंड एक्सपोर्टर्स चैंबर (एफमेक) के सींगना स्थित आगरा ट्रेड सेंटर में तीन दिवसीय मीट एट आगरा के समापन पर रविवार को उद्यमियों को पुरस्कृत भी किया गया।
एफमेक अध्यक्ष गोपाल गुप्ता ने कहा कि अमेरिकी टैरिफ के कारण जूता कारोबार प्रभावित हुआ है। ऐसे में मीट एट आगरा में अन्य देशों की प्रतिभागिता बढ़ी। इस बार बीते साल के मुकाबले 3,500 उद्यमी अधिक आए। विजिटर की संख्या भी एक हजार से अधिक बढ़ी है। जूता, सोल, धागा, फुटबेड, केमि
फुटवियर एवं चमड़ा उद्योग विकास परिषद के अध्यक्ष पूरन डावर ने बताया कि जीएसटी कम होने के बाद मीट एट आगरा से जूता उद्यम को गति मिलेगी। इस आयोजन से जूता से जुड़े 15 से अधिक उद्यम का भी कारोबार बढ़ेगा। उपाध्यक्ष राजीव वासन और कैप्टन एएस राणा ने कहा कि विशेषज्ञों ने जूते की डिजाइन, तकनीक समेत अन्य के बारे में भी प्रशिक्षण दिया, जिससे बाजार के बदलते ट्रेंड के हिसाब से उत्पाद बन सकेंगे। महासचिव प्रदीप वासन ने बताया कि भारत दुनिया का तीसरा जूता उत्पादक है। इस साल 10 फीसदी अधिक निर्यात की उम्मीद है। द आगर शू फैक्टर्स फेडरेशन के अध्यक्ष विजय सामा ने बताया कि मीट एट आगरा में पहली बार घरेलू जूता कारोबार को बढ़ावा देने के लिए कर्मचारियों को भी नई तकनीक के बारे में जानकारी दी गई। कार्यक्रम में संस्थापक अध्यक्ष दलजीत सिंह, उपेंद्र सिंह लवली, सुनील जोशन, अनिरुद्ध तिवारी, चंद्रमोहन सचदेवा, माला खेड़ा, संकल्प अग्रवाल आदि मौजूद रहे।
फ्रैटरनिटी ऑफ आगरा फुटवियर के अध्यक्ष कुलदीप कोहली ने बताया कि अगले साल 17 अप्रैल से चार दिवसीय फुटवियर फेयर आयोजित होगा। पहले तीन दिन बिजनेस टू बिजनेस (बीटूबी) और अंतिम दिन बिजनेस टू कंज्यूमर (बीटूसी) होगा। इससे स्थानीय लोग भी जूता-चप्पल समेत अन्य उत्पादों की खरीद कर सकेंगे। इसके लिए स्थान जल्द तय करेंगे।
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