भारत ने पाकिस्तान के पांच लड़ाकू और एक टोही विमान मारा
वायुसेना प्रमुख एयर चीफ मार्शल एपी सिंह का धमाकेदार बयान
बेंगलुरु, 09 अगस्त (एजेंसियां)। वायुसेना प्रमुख एयर चीफ मार्शल एपी सिंह ने मुरीदके-लश्कर मुख्यालय पर हमले के पहले और बाद की तस्वीरें दिखाईं। उन्होंने कहा कि ऑपरेशन सिंदूर के दरम्यान हमने पाकिस्तान के पांच लड़ाकू विमानों को मार गिराया। साथ ही एक बड़ा टोही विमान भी लगभग 300 किलोमीटर की दूरी से मार गिराया गया। यह वास्तव में अब तक का सबसे बड़ा सतह से हवा में मार करने वाला हमला था।
वायुसेना प्रमुख एयर चीफ मार्शल एपी सिंह ने बेंगलुरु में कहा, भारत की वायु रक्षा प्रणाली एस-400 ने पाकिस्तान के पांच लड़ाकू और एक बड़ा विमान मार गिराया। हमारी वायु रक्षा प्रणालियों ने शानदार काम किया है। इसमें एस-400 एक गेम-चेंजर साबित हुआ। उस प्रणाली की रेंज ने वास्तव में पाकिस्तान के विमानों को दूर रखा। पाकिस्तान के विमान हमारी वायुरक्षा प्रणाली को भेदने में सक्षम नहीं थे। ऑपरेशन सिंदूर के दौरान मुरीदके और बहावलपुर के लश्कर मुख्यालय पर हमले के पहले और बाद की तस्वीरें दिखाते हुए वायुसेना प्रमुख ने कहा कि यह पाकिस्तान के वरिष्ठ नेतृत्व का आवासीय क्षेत्र है। यह उनका कार्यालय भवन था, जहां वे बैठक करते थे। ये वायुसेना द्वारा बहावलपुर के जैश मुख्यालय में पहुंचाए गए नुकसान की पहले और बाद की तस्वीरें हैं। यहां लगभग कुछ भी बचा नहीं है। आस-पास की इमारतें पूरी तरह सुरक्षित हैं। हमारे पास न केवल सैटेलाइट इमेज हैं, बल्कि स्थानीय मीडिया से मिली तस्वीरें भी हैं। हम अंदर की तस्वीरें भी प्राप्त कर सके हैं।
वायुसेना प्रमुख ने कहा, हमने पाकिस्तान के पांच लड़ाकू विमान मार गिराए। साथ ही एक बड़ा टोही विमान भी मार गिराया। टोही विमान को लगभग 300 किलोमीटर की दूरी से मार गिराया गया। यह वास्तव में अब तक का सबसे बड़ा सतह से हवा में मार करने वाला हमला था। उन्होंने कहा, इसके अलावा शाहबाज जैकबाबाद हवाई अड्डे पर भी हमला किया गया। यहां एक एफ-16 हैंगर का आधा हिस्सा नष्ट हो गया। मुझे लगता है कि हैंगर के अंदर भी कुछ विमान थे जो क्षतिग्रस्त हो गए हैं। हमने मुरीदके और चकलाला जैसे कम से कम दो कमांड और कंट्रोल सेंटर पर भी हमला किया। इसमें छह रडार नष्ट कर दिए गए। इसके अलावा हमें अवॉक्स टोही विमानों के हैंगर में कम से कम एक अवॉक्स विमान और कुछ एफ-16 विमानों के होने के संकेत मिले, जिनका वहां रखरखाव चल रहा था। उनको भी नष्ट कर दिया गया।
वायुसेना प्रमुख ने कहा, ऑपरेशन सिंदूर में हमारी सफलता का प्रमुख कारण राजनीतिक इच्छाशक्ति है। हमें बहुत स्पष्ट निर्देश दिए गए थे। हम पर कोई प्रतिबंध नहीं लगाए गए थे। अगर कोई बाधा थी तो वह स्व-निर्मित थी। हमने तय किया कि कितना आगे बढ़ना है। हमें योजना बनाने और उसे लागू करने की पूरी आजादी थी। हमने सोच-समझकर हमले किए थे क्योंकि हम इसे लेकर आश्वस्त होना चाहते थे। तीनों सेनाओं के बीच बेहतरीन समन्वय था। सीडीएस हमें एक साथ लाने के लिए मौजूद थे। एनएसए ने भी सभी एजेंसियों को एक साथ लाने में बड़ी भूमिका निभाई।
वायुसेना प्रमुख ने कहा कि यह एक उच्च तकनीक वाला युद्ध था। 80 से 90 घंटों के युद्ध में हमने पाकिस्तान को इतना नुकसान पहुंचाया कि उनको लग गया कि अगर युद्ध जारी रहा तो उन्हें भारी कीमत चुकानी पड़ेगी। इसलिए पाकिस्तान आगे आया और हमारे डीजीएमओ को संदेश भेजा कि हम बात करना चाहते हैं। हमारी ओर से इसे स्वीकार कर लिया गया। एयर चीफ मार्शल एपी सिंह ने कहा कि हम अपनी वायुसेना में ऐसे ही दिनों के सपने देखते हुए बड़े हुए हैं। किसी दिन हमें वहां जाने का मौका मिले। तो संयोग से मुझे सेवानिवृत्त होने से ठीक पहले यह मौका मिल गया। इसलिए हमने वहां के हवाई क्षेत्र पर अपनी धमक दिखा दी। एयर चीफ मार्शल ने कहा कि बालाकोट के बारे में कहा गया कि हम कुछ हासिल नहीं कर सके और दुर्भाग्यवश हमें अपने ही लोगों को यह बताना पड़ा कि हमने क्या हासिल किया। यह एक बड़ा मुद्दा बन गया कि हम क्या हासिल कर पाए? वहां क्या हुआ था, हमारे पास इसकी खुफिया जानकारी थी। इससे हमें अंदर की बहुत स्पष्ट तस्वीर मिलती थी कि वहां कितना बड़ा नुकसान हुआ है। बहुत सारे आतंकवादी मारे गए। लेकिन हम अपने ही लोगों को यह विश्वास नहीं दिला पाए कि देखो, हमने क्या हासिल किया है? इसलिए मुझे बहुत खुशी है कि इस बार हम बालाकोट जैसी स्थिति से निपटने में सफल रहे और हम दुनिया को यह बता पाए कि हमने क्या हासिल किया है।
ऑपरेशन सिंदूर को रोकने के फैसले पर वायुसेना प्रमुख ने कहा कि इस संघर्ष में लोग अपने अहंकार पर उतर आए थे। लेकिन हमने एक अच्छा उदाहरण स्थापित किया। हमारा लक्ष्य पूरी तरह से स्पष्ट था। हमारा लक्ष्य आतंकी ठिकानों और आतंकियों को सबक सिखाना था। हमने दो बार उनको सबक सिखाया। हमने पाकिस्तान को बता दिया कि उनको इसकी कितनी बड़ी कीमत चुकानी पड़ सकती है। एक बार जब हमने अपना लक्ष्य हासिल कर लिया, तो हमें इसे रोकने के सभी अवसर तलाशने चाहिए थे। लेकिन मेरे कुछ करीबी लोगों ने कहा कि और मारना था। लेकिन क्या हम युद्ध जारी रख सकते हैं? मेरे विचार से हमें युद्ध क्यों जारी रखना चाहिए। ऑपरेशन सिंदूर स्थगित करके देश ने एक अच्छा फैसला लिया।
वायुसेना प्रमुख एपी सिंह ने कहा कि पाकिस्तान का कोई भी विमान हमारी आकाश मिसाइल और कम रेंज वाली सतह से हवा में मार करने वाली मिसाइल के आसपास भी नहीं आ सका। हमने लंबी दूरी की सतह से हवा में मार करने वाली मिसाइलों से उनके विमानों को निशाना बनाया। कई बार पाकिस्तान के विमान हमारी सीमा में थे तो यह हमारे लिए अवसर था। जहां तक हमारे हमले का सवाल है। हमारे लिए कोई रोक-टोक नहीं थी। हमने तय किया कि हम पैन फ्रंट पर हमला करेंगे और हम अपने संसाधनों का इस्तेमाल करेंगे। हमारा उद्देश्य किसी एक खास हवाई क्षेत्र पर हमला करके उसे तबाह करना नहीं था। बल्कि पाकिस्तान को यह अहसास दिलाना था कि देखो हम तुम पर जहां चाहें वहां जाकर हमला कर सकते हैं। इसके बाद हमने भोलारी में एक अवॉक्स हैंगर पर हमला किया। इसके बाद हमें स्पष्ट संकेत मिला कि जब हमला हुआ, तो हैंगर में एक विमान मौजूद था।
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