संघर्ष की राह पर यूपी के बिजलीकर्मी
शुक्रवार से हर जिले में होगा प्रदर्शन
लखनऊ, 23 अक्टूबर (एजेंसियां)। विद्युत कर्मचारी संयुक्त संघर्ष समिति ने ऐलान किया है कि शुक्रवार को सभी जिलों में फिर से विरोध प्रदर्शन शुरू किया जाएगा। निजीकरण के साथ ही वर्टिकल सिस्टम का भी विरोध किया जाएगा। इसे भी स्वीकार नहीं किया जाएगा। समिति ने कहा है कि वर्टिकल सिस्टम के नाम पर शहरी क्षेत्रों में पुनर्गठन किया जा रहा है। इससे कर्मचारियों और इंजीनियरों के पदों को घटाया जा रहा है। पहले पदों को घटाया जाएगा। इसके बाद शहरी क्षेत्र को निजी कंपनियों के हवाले कर दिया जाएगा। एक तरह से यह निजीकरण की दूसरी रणनीति है। संघर्ष समिति ने कहा कि जिस प्रकार मध्यांचल में लेसा और केस्को में पदों मे कटौती की जा रही है। उसी तरह पश्चिमांचल व अन्य निगमों में भी हजारों पद खत्म किए जाएंगे। फिर कार्य प्रभावित होने की दुहाई देते हुए निजी कंपनियों को काम सौंपा जाएगा। मालूम हो कि दीपावली पर्व पर बिजली कर्मियों ने आंदोलन स्थगित कर दिया था।
केंद्रीय पदाधिकारियों का आरोप है कि नई व्यवस्था से अकेले लखनऊ के लेसा में ही करीब 2055 नियमित पद और लगभग 6000 संविदा कर्मियों के पद समाप्त हो जाएंगे। समिति ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से अपील की है कि वह मनमाने ढंग से हजारों पदों को समाप्त करने के मामले में तत्काल हस्तक्षेप करें। संघर्ष समिति ने मुख्यमंत्री को भेजे गए पत्र में पदों का विवरण भी दिया है।

