लखनऊ, 06 अक्टूबर 2025। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सोमवार को वाराणसी के सर्किट हाउस सभागार में प्रशासनिक और पुलिस अधिकारियों के साथ बैठक कर जनपद में चल रहे विकास कार्यों और कानून-व्यवस्था की स्थिति की गहन समीक्षा की। मुख्यमंत्री ने स्पष्ट कहा कि विकास कार्यों को तय समयसीमा के भीतर और उच्च गुणवत्ता के साथ पूरा किया जाए, ताकि जनता को इन योजनाओं का लाभ शीघ्र मिल सके। उन्होंने पाण्डेयपुर मेडिकल कॉलेज के निर्माण कार्यों में तेजी लाने के निर्देश देते हुए कहा कि कोई भी परियोजना अनावश्यक विलंब का शिकार न बने।
बैठक में बताया गया कि वर्तमान समय में वाराणसी में लगभग 18,000 करोड़ रुपये की लागत से 128 प्रमुख परियोजनाओं पर कार्य चल रहा है। रिंग रोड फेज-2 का कार्य जून 2026 तक पूरा होने की उम्मीद है। मुख्यमंत्री ने कहा कि विकास योजनाओं की नियमित मॉनिटरिंग की जाए और अधिकारियों की जवाबदेही सुनिश्चित की जाए।
उन्होंने विशेष रूप से कहा कि दालमंडी सड़क निर्माण कार्य को मिशन मोड में पूरा किया जाए, ताकि शहर के प्रमुख बाजार क्षेत्रों में यातायात सुचारु हो सके और नागरिकों को राहत मिले। साथ ही, नगर निगम को निर्देश दिया कि शहर की सड़कों, गलियों और सीवर लाइनों की मरम्मत और सफाई कार्य अभियान के रूप में चलाए जाएं। सभी वार्डों में स्वच्छता व्यवस्था दुरुस्त की जाए और लोक निर्माण विभाग यह सुनिश्चित करे कि शहर की सभी सड़कें गड्ढा मुक्त हों।
योगी ने निर्देश दिए कि नगर निगम के जोनल कार्यालयों में नागरिकों की सुविधा के लिए सभी आवश्यक सेवाएं उपलब्ध हों, ताकि लोगों को अनावश्यक परेशानियों का सामना न करना पड़े। उन्होंने कहा कि शहर के प्रत्येक वार्ड में कल्याण मंडपम बनाए जाएं, जो गरीब और कमजोर परिवारों की बेटियों की शादी या अन्य सामाजिक कार्यक्रमों के लिए उपलब्ध कराए जा सकें। इसमें जनप्रतिनिधियों से सहयोग भी लिया जाए।
राजस्व विभाग को निर्देश देते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि राजस्व वादों के निस्तारण में तेजी लाई जाए और सरकारी भूमि से अवैध कब्जे हटाए जाएं। उन्होंने स्पष्ट कहा कि गरीबों की जमीन पर किसी भी प्रकार का कब्जा बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। ग्राम पंचायत सचिवालयों में सभी आवश्यक कार्यों के निष्पादन की व्यवस्था सुनिश्चित की जाए और निवास, आय व जाति प्रमाण पत्र वहीं से निर्गत किए जाएं, ताकि ग्रामीणों को तहसील के चक्कर न लगाने पड़ें।
मुख्यमंत्री ने आईजीआरएस और सीएम हेल्पलाइन पर प्राप्त शिकायतों के त्वरित निस्तारण पर बल दिया। उन्होंने कहा कि इन शिकायतों की रैंडम जांच की जाए और मौके पर जाकर फीडबैक लिया जाए, ताकि जनता की वास्तविक समस्याओं का समाधान हो सके। उन्होंने चेतावनी दी कि लापरवाही बरतने वाले अधिकारियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।
बैठक में मुख्यमंत्री ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स पर निगरानी बढ़ाने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि सोशल मीडिया पर अफवाह फैलाने वालों से सख्ती से निपटा जाए। किसी भी घटना या शिकायत पर प्रशासन और पुलिस को तुरंत प्रतिक्रिया देनी चाहिए। उन्होंने कहा कि जनता के साथ निरंतर संवाद बनाए रखना शासन की प्राथमिकता है।
योगी ने कहा कि प्रदेश के सीमावर्ती क्षेत्रों में विशेष सतर्कता रखी जाए। अपराधियों, गौ-तस्करों और असामाजिक तत्वों पर कड़ी नजर रखी जाए और उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाए। त्योहारों और विशेष अवसरों पर सुरक्षा व्यवस्था चाक-चौबंद रहे। पुलिस बल हर स्थान पर मुस्तैद रहे और अधिक से अधिक सीसीटीवी कैमरे लगाए जाएं ताकि किसी भी स्थिति पर तुरंत नियंत्रण किया जा सके।
उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिया कि जीएसटी विभाग की मासिक समीक्षा मण्डलायुक्त और जिलाधिकारी स्तर पर की जाए। इससे कर संग्रह में पारदर्शिता और राजस्व वृद्धि सुनिश्चित होगी।
मुख्यमंत्री ने कहा कि गंगा महोत्सव और देव दीपावली जैसे भव्य आयोजनों की तैयारियां अभी से शुरू कर दी जाएं। घाटों, गलियों और सड़कों की सफाई व्यवस्था दुरुस्त की जाए ताकि आने वाले तीर्थयात्रियों और पर्यटकों को स्वच्छ और सुंदर वातावरण मिले। उन्होंने कहा कि दालमंडी सड़क निर्माण कार्य को भी इसी प्राथमिकता में रखा जाए और इसे दीपावली से पहले पूरा किया जाए।
योगी ने ट्रैफिक व्यवस्था को लेकर भी सख्त निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि त्योहारी सीजन में बाजारों के आसपास ट्रैफिक और सिविल पुलिस के साथ-साथ होमगार्ड्स की ड्यूटी लगाई जाए और नियमित फुट पेट्रोलिंग सुनिश्चित की जाए। इससे भीड़भाड़ वाले इलाकों में सुरक्षा और अनुशासन बना रहेगा।
फ्रेट विलेज परियोजना पर चर्चा करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि इस परियोजना में आ रही सभी बाधाओं को तुरंत दूर किया जाए। उन्होंने कहा कि यह परियोजना वाराणसी को लॉजिस्टिक हब के रूप में विकसित करने में अहम भूमिका निभाएगी। इसके साथ ही, प्रधानमंत्री सूर्य घर योजना की प्रगति पर भी उन्होंने संतोष व्यक्त किया और कहा कि अधिक से अधिक सोलर पैनल इंस्टॉल किए जाएं, जिससे ऊर्जा आत्मनिर्भरता बढ़े और पर्यावरण संरक्षण को भी बल मिले।
योगी ने वरुणा और असी नदियों की सफाई और पुनरोद्धार कार्यों पर विशेष ध्यान देने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि इन नदियों का संरक्षण न केवल पर्यावरणीय दृष्टि से बल्कि सांस्कृतिक महत्व के कारण भी अत्यंत आवश्यक है। नदियों की साफ-सफाई नियमित रूप से कराई जाए और स्थानीय निकायों की जवाबदेही तय की जाए।
बैठक के बाद मुख्यमंत्री ने श्री काशी विश्वनाथ मंदिर और काल भैरव मंदिर जाकर पूजा-अर्चना की। उन्होंने भगवान विश्वनाथ से प्रदेश की समृद्धि और जनता के कल्याण की कामना की।
इस दौरान कृषि मंत्री सूर्य प्रताप शाही, स्टाम्प एवं पंजीयन राज्यमंत्री रविंद्र जायसवाल, आयुष राज्यमंत्री दयाशंकर मिश्र ‘दयालु’ सहित कई जनप्रतिनिधि और प्रशासनिक अधिकारी उपस्थित रहे।
वाराणसी दौरे के दौरान मुख्यमंत्री का यह स्पष्ट संदेश था कि सरकार की प्राथमिकता जनता की सुविधा, विकास कार्यों की गति और कानून-व्यवस्था की मजबूती है। उन्होंने कहा कि वाराणसी, जो प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का संसदीय क्षेत्र भी है, उसे एक आदर्श स्मार्ट और आध्यात्मिक नगरी के रूप में विकसित किया जाना चाहिए। विकास और परंपरा का संतुलन ही काशी की पहचान है, और इसी दिशा में सरकार निरंतर कार्य कर रही है।
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