सुप्रीम कोर्ट ने नहीं सुनी धर्म संसद के खिलाफ याचिका
नई दिल्ली, 20 दिसंबर (एजेंसियां)। सुप्रीम कोर्ट ने गाजियाबाद स्थित डासना मंदिर के महंत यति नरसिंहानंद के प्रस्तावित धर्म संसद के खिलाफ प्रशांत भूषण की याचिका खारिज कर दी। साथ ही कोर्ट ने उत्तर प्रदेश के अधिकारियों के खिलाफ अवमानना याचिका पर विचार करने से इनकार कर दिया।
दरअसल, यति नरसिंहानंद फाउंडेशन 17-21 दिसंबर को डासना के शिव-शक्ति मंदिर में धर्म संसद आयोजित करने जा रहा है। इस आयोजन के खिलाफ प्रशांत भूषण ने अपनी याचिका में कहा था कि यहां नफरती भाषण दिए जाने की आशंका है। इसे पर सुनवाई से इनकार करते हुए मुख्य न्यायाधीश संजीव खन्ना ने कहा कि प्रदेश के अधिकारियों को सभी एहतियाती कदम उठाने का निर्देश दिया गया था। अदालत ने कहा कि उसके पास अन्य गंभीर मामले भी हैं। इसलिए याचिकाकर्ता को हाई कोर्ट से संपर्क करना चाहिए।
प्रशांत भूषण ने कहा कि नरसिंहानंद को इस शर्त पर जमानत मिली थी कि वह नफरती भाषण नहीं देंगे। इस पर सुप्रीम कोर्ट ने कहा, अगर आप सुप्रीम कोर्ट आ सकते हैं तो हाई कोर्ट क्यों नहीं जा सकते? कोर्ट ने धर्म संसद का वीडियो रिकॉर्डिंग करने का निर्देश दिया। इसके साथ ही अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल से निगरानी रखने के लिए कहा।